काँटों से घिरे इस वन से,
अपना ना हो कोई उस आँगन से।
आये थे जिस मेले से तुम ,
अपना ना हो कोई उस आँगन से।
आये थे जिस मेले से तुम ,
उस मेले से ।
बिदाई तुम्हे मुबारक हो।
बिदाई तुम्हे मुबारक हो।
जिस रास्ते तुम गए ,
उसी रस्ते सबको जाना है।
फर्क इतना तुम आज गए,
हमें बाद में जाना है।
जल्दी पहुँचो हे महान आत्मा,
परमात्मा तुम्हे मुबारक हो।
जो शारीर तुमने छोड़ा,
वह माटी था माटी में मिल गया।
उसमे जो आत्मा थी उसे प्रणाम,
तुम्हारे आत्मा का परमात्मा से ।
मिलन का तुम्हे मुबारक हो।
उसी रस्ते सबको जाना है।
फर्क इतना तुम आज गए,
हमें बाद में जाना है।
जल्दी पहुँचो हे महान आत्मा,
परमात्मा तुम्हे मुबारक हो।
जो शारीर तुमने छोड़ा,
वह माटी था माटी में मिल गया।
उसमे जो आत्मा थी उसे प्रणाम,
तुम्हारे आत्मा का परमात्मा से ।
मिलन का तुम्हे मुबारक हो।